कुल्लू: यह प्रथा देश के सुन्दर राज्यों में शुमार हिमाचल प्रदेश की है। दरअसल, यहां शादीशुदा महिला को साल में एक बार पांच दिन तक नग्न रहना पड़ता है। केवल इतना ही नहीं इस दौरान पति-पत्नी आपस में बातचीत भी नहीं कर सकते। बताया जा रहा है कि कई वर्षों से चली आ रही इस प्रथा को लेकर गांव वाले आज भी सकारात्मक ही सोंचते हैं।
एक वेबसाइट के अनुसार, हिमाचल के इस गांव में सावन माह के पांच दिन प्रत्येक शादीशुदा जोड़ा आपस में हंसी-मजाक नहीं करते। साथ ही पत्नी न्यूड रहती हैं। इतना ही नहीं इन पांच दिनों में सख्त नियमों का पालन किया जाता है। इन पांच दिनों में पति पत्नी को एक दूसरे से दूर रहना होता है। अगर ऐसा नही होता तो इसे तबाही की वजह से देखा जाता है। इन पांच दिनों तक महिलाएं कपड़े नहीं पहनती। जबकि पुरुष शराब सेवन भी नहीं करते। गांव वालों का मानना है कि इस प्रथा की शुरुआत तब हुई थी जब देवताओं से इस गांव में अपने कदम रखे थे। उनका मानना है कि सावन के इन पांच खास दिनों में पति पत्नी ने आपस में मजाक किया तो देवता बुरा मान जाएंगे और गांव पर तबाही आ जाएगी। जिसके लिए वहां पर रहने वाले सभी लोग इस परंपरा को मानते हैं। आज हम 21वीं सदी में पहुंच गए हैं लेकिन फिर भी आज देश के कई ऐसे क्षेत्र हैं जहां इस तरह की परंपरा को माना जाता है।