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वीडियो: इस जगह लोगों ने अमित शाह के ऊपर फेकें सड़े अंडे और टमाटर


हम आपको बता दें कि हमारे देश में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और भाजपा अध्यक्ष अमित शाह का विरोध लगातार बढ़ता जा रहा है. आपको यह जानकर दुख होगा कि देश में किसान बदहाल है, नौजवानों के पास रोजगार नहीं है.

जीएसटी से व्यापारी परेशान है. नोटबंदी ने अर्थव्यवस्था की कमर तोड़ कर रख दी है. देश में चारों तरफ निराशा का माहौल है.

किसी को कुछ समझ नहीं आ रहा कि वो क्या करें, उपर से देश का प्रधानमंत्री युवाओं को गटर से गैस निकाल कर चाय बनाने और पकौड़े बेने की सलाह दे रहा है. इसी आक्रोश का परिणाम है कि अब लोग इन नेताओं पर सड़े अंडे और टमाटरों से हमला कर रहे हैं.

गुजरात में हुआ हमला

अमित शाह पर ये हमला उन्हीं के गृह राज्य गुजरात में हुआ. गुजरात के जूनागढ़ के रास्ते पर जब अमित शाह सोमनाथ जा रहे थें तो बड़ी संख्या में युवाओं ने उनके काफिले पर सड़े हुए अंडे और टमाटर से हमला कर दिया.

घटना रात के करीब साढ़े 11 बजे हुई.

अंडों की इस बरसात से अमित शाह इतना घबराया कि उसने वहां रुकने की हिम्मत ही नहीं की और अपने काफिले समेत भाग निकला. गाड़ी के अंदर से ही शाह ने इसकी सूचना गुजरात पुलिस को दी. सूचना मिलते ही पुलिस वहां पहुंची तो वहां से कुछ युवकों को गिरफ्तार कर लिया.

कब तक होगी झूठ की खेती

वहां से पकड़े गए युवाओं का कहना था कि इन लोगों ने वायदा किया था कि हमारी सरकार आते ही बड़ी बड़ी विदेशी कंपनियां भारत में निवेश करेंगी और देश का नक्शा बदल जाएगा.

हर साल 02 करोड़ युवाओं को नौकरी दी जाएगी.

आज नौकरी मांगने वालों को ये कह रहे हैं कि झाड़ू लगाओ, देश को स्वच्छ बनाओ.

योगा करो और शरीर को तंदरुस्त बनाओं. उपर से प्रधानमंत्री पद पर बैठा आदमी पकौड़े तलने की बात कह कर हमारा मजाक बना रहा है.

देखें वीडियो:-

पूरे देश में बन रहा सरकार के खिलाफ माहौल

बताते चलें कि पूरे देश में वर्तमान सरकार के खिलाफ गुस्से का माहौल बनता जा रहा है.

कई लोग तो यह भी कह रहे हैं कि अगर नरेंद्र मोदी बिना सिक्योरिटी के सड़क पर उतर जाएं तो लोग उनका हाल भी मनोज तिवारी जैसा कर दें.

अपने वायदों से पीछे हटना इस सरकार को भारी पड़ने वाला है. इसके नतीजे उन्हें अपने प्रदेश से ही दिखाई देने लगे हैं.

निष्कर्ष :

हम इस तरह की किसी भी घटना का प्रत्यक्ष या अप्रत्यक्ष तौर पर समर्थन नहीं करते हैं लेकिन सरकार का अपने वायदों और जिम्मेवारियों से मुकर जाना भी कही से सही नहीं है.