कांग्रेस ने शनिवार को बिहार, हिमाचल प्रदेश और पंजाब में पांच लोकसभा सीटों के लिए उम्मीदवार घोषित किए जिनमें सबसे प्रमुख नाम शत्रुघ्न सिन्हा का है जिन्हें पटना साहिब से
कहा जाता है कि राजनीति संभावनाओं का खेल है। शुक्रवार को यह एक बार फिर से सच साबित हो गया जब महाराष्ट्र नवनिर्माण सेना के चीफ राज ठाकरे को कांग्रेस-एनसीपी
ओडिसा में वरिष्ठ नेता सुभाष चौहान ने बीजेपी से मंगलवार को इस्तीफा दे दिया है। बरगड लोकसभा सीट से टिकट न मिलने के कारण उन्होंने राज्य भाजपा कार्यालय में आकर अपना
आज बीजेपी अध्यक्ष अमित शाह ने लाल कृष्णा आडवाणी की गांधीनगर सीट से अपना नामांकन कर दिया। उनके साथ गृहमंत्री राजनाथ सिंह शिवसेना प्रमुख उद्धव ठाकरे और गुजरात के मुख्यमंत्री
बीजेपी और राजाभैया की जनसत्ता दल लोकतांत्रिक के बीच गठबंधन की उम्मीद अब पूरी तरह से खत्म हो गई है। लोकसभा के चुनाव में जनसत्ता दल अब अकेले ताल ठोंकेगा।
सारी
भाजपा के बागी नेता और पटना साहिब से सांसद शत्रुघ्न सिन्हा 28 मार्च को कांग्रेस में शामिल होंगे। काफी दिन पहले ही उनका कांग्रेस में शामिल होना तय हो गया
लोकसभा चुनाव से ठीक पहले सुखराम परिवार ने फिर रंग बदल दिया है। पूर्व केंद्रीय मंत्री पंडित सुखराम पोते आश्रय शर्मा सहित कांग्रेस में शामिल हो गए हैं। पूर्व केंद्रीय
भारतीय जनता पार्टी के कद्दावर और वरिष्ठ नेता शाहनवाज हुसैन इस बार लोकसभा चुनाव नहीं लड़ेंगे। दरअसल बिहार में भाजपा ने जदयू के साथ और रामविलास की पार्टी लोजपा के
भारत के पूर्व क्रिकेट खिलाड़ी वीरेन्द्र सहवाग ने निजी कारणों का हवाला देते हुये लोकसभा चुनाव के लिए भाजपा के प्रस्ताव से इंकार कर दिया है। दिल्ली इकाई के एक
नागरिकता (संशोधन) विधेयक को लेकर पूर्वोत्तर में व्यापक विरोध के मद्देनजर मेघालय में सत्तारूढ़ गठबंधन को हाल ही में हुए दो आदिवासी परिषद चुनावों में हार का सामना करना पड़ा